A Sunset of the City: दादर चौपाटी की रेत पर

Photo by Gulzar Hussain
By Gulzar Hussain

घोड़े पर एक छोटी सी लड़की बैठी है...वह जोर जोर से खिलखिला रही है ...घोड़े का लगाम थामे एक युवक उसे समुद्री रेत पर इधर से उधर ले जा रहा है ...रेत पर बैठे लोग भुट्टे और भेलपुरी खाते हुए समंदर की ठंडी हवा का आनंद ले रहे हैं ...कुछ बच्‍चे रेत का महल बना रहे हैं और कुछ बच्‍चे रेत में पैर घुसाकर मुस्‍कुरा रहे हैं ...तभी एक तमाशा दिखाने वाली लड़की मेरे नजदीक आ खड़ी होती है ...मैं उसकी आंखों में पसरा दुख देखने की कोशिश करता हूं ...


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हां, यह मुंबई का एक प्रसिद्ध समंदर का किनारा है-दादर चौपाटी (Dadar Chowpatty)। लोग डूबते सूरज को (Sunset) देखने के लिए बेसब्र हुए जा रहे हैं। अब थोड़ी ही देर में सूरज डूबने लगेगा और इसकी चमक फीकी पड़ जाएगी। दादर का समुद्र तट बाबासाहेब आंबेडककर की चैत्‍यभूमि से थोड़ी दूर पर है, तो जो लोग बाबासाहेब की चैत्‍यभूमि पर आते हैं वे समंदर की रेत पर टहलकर सूर्यास्‍त का भी आनंद ले लेते हैं।

रेत पर चाट और भेलपुरी की दुकानों के पास ही गुब्‍बारे और घिरनी वाला भी अपनी दुकान लगाए हैं। एक झूला भी है, जिस पर छोटे- छोटे बच्‍चे घूमते हुए आनंद से चीख रहे हैं। समुद्री तट से सटे ही एक पार्क है, जो प्रेमी जोड़ों के लिए बेहतरीन स्‍थान तो है ही, बच्‍चे भी यहां जमकर खेलते नजर आते हैं।
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...लेकिन सबसे ज्‍यादा जो यहां का आकर्षण है, वह है सूर्यास्‍त का। सूर्यास्‍त देखने दूर- दराज से लोग यहां आए हैं।  सूरज धीरे- धीरे अपनी चमक खोते हुए लाल होता जा रहा है और पंछियों का झुंड घोंसले में लौटने को आतुर होकर चहचहा रहे हैं। अंधेरा घिरते ही समंदर चांदी सा चमकने लगा है।
(Travel writing and Photography : Gulzar Hussain)

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